DMT : इस्लामाबाद : (14 मार्च 2023) : –
पाकिस्तान सरकार ने पिछले कुछ सालों में अपने शीर्ष अधिकारियों को मिलने वाले तोहफ़ों की सूची को सार्वजनिक किया है.
इसमें 2002 से मार्च 2023 तक प्रधानमंत्रियों, राष्ट्रपतियों, ब्यूरोक्रेट्स और पत्रकारों समेत शीर्ष पदों वाले अफ़सरों को मिलने वाले उपहारों की सूची शामिल है.
प्रधानमंत्री शाहबाज़ शरीफ़ के निर्देश पर कैबिनेट डिविज़न की वेबसाइट पर अपलोड किए गए इस रिकॉर्ड के अनुसार तोशाख़ाना में गाड़ियां, घड़ियां, लैपटॉप, आईफ़ोन, बेडशीट और यहां तक कि खाने-पीने के सामान जैसे पाइनएप्पल, कॉफ़ी, श्रीलंकाई चाय और अरब क़हवा कप भी उपहार स्वरूप लिए गए हैं.
हालांकि, इस लिस्ट में यह नहीं बताया गया है कि कौन सी चीज़ किस देश से आई थी. मगर यह ज़रूर बताया गया है कि किस पदाधिकारी ने कितने पैसों के बदले इस चीज़ को तोशाख़ाना से लिया और इसकी असली क़ीमत का क्या अंदाज़ा लगाया गया था.
सरकारी दस्तावेज़ों के अनुसार तोहफ़े लेने वालों में पूर्व राष्ट्रपति परवेज़ मुशर्रफ़, आसिफ़ अली ज़रदारी और ममनून हुसैन, पूर्व प्रधानमंत्री शौकत अज़ीज़, यूसुफ़ रज़ा गिलानी, राजा परवेज़ अशरफ़, नवाज़ शरीफ़, शाहिद ख़ाक़ान अब्बासी और इमरान ख़ान शामिल हैं.
वर्तमान प्रधानमंत्री शाहबाज़ शरीफ़ और राष्ट्रपति आरिफ़ अल्वी का तोशाख़ाना रिकॉर्ड भी जारी किया गया है.
तोशाख़ाना के 21 साल के रिकॉर्ड के अनुसार पाकिस्तान सरकार के पदाधिकारियों को सबसे अधिक तोहफ़े 2005 में मिले जिनकी कुल संख्या 475 थी.
सन् 2006 और 2007 के दौरान कुल 381 उपहार मिले. इस तरह 2004 में पाकिस्तान के तोशाख़ाने में 350 तोहफ़े आए.
इस लिस्ट के अनुसार पाकिस्तान के इतिहास में सबसे अधिक तोहफ़े पूर्व प्रधानमंत्री शौकत अज़ीज़ को मिले थे जो देश के पहले वित्त मंत्री के पद पर भी थे.
शौकत अज़ीज़ और उनकी पत्नी को विदेशी प्रतिनिधियों से कुल 885 उपहार मिले.
सन 2006 में शौकत अज़ीज़ को अपना सबसे महंगा उपहार एक ज्वेलरी सेट की शक्ल में मिला जिसकी क़ीमत का अंदाजा 37,64,555 रुपये लगाया गया मगर इसके लिए उन्होंने लगभग 5,63,184 पाकिस्तानी रुपये (15 प्रतिशत) अदा किए.
2002 के बाद के रिकॉर्ड के अनुसार, आसिफ़ ज़रदारी ने 181, नवाज़ शरीफ़ ने 55, शाहिद ख़ाक़ान अब्बासी ने 27, इमरान ख़ान ने 112 और परवेज़ मुशर्रफ़ ने तोशाख़ाने से 126 तोहफ़े हासिल किए.
वर्तमान सरकार का दावा है कि प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ़ ने अब तक कोई तोहफ़ा तोशाख़ाने से नहीं लिया और रिकॉर्ड के मुताबिक़ सभी तोहफ़े वज़ीर-ए-आज़म हाउस में डिस्प्ले किए गए हैं.
सबसे महंगा उपहार किसे मिला और किसने अपने पास रखा?
● सन 2017 से 2018 के बीच प्रधानमंत्री रहने वाले शाहिद ख़ाक़ान अब्बासी, उनकी पत्नी और बेटों ने 23 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य के उपहार 20 फ़ीसद रक़म अदा करके लिए. इनमें स्विस लग्ज़री ब्रांड हेबलोट, रोलेक्स और हैरी विंस्टन की घड़ियां और ज्वेलरी गिफ़्ट सेट्स शामिल हैं.
● सन 2018 में प्रधानमंत्री बनने के बाद इमरान ख़ान और उनकी पत्नी बुशरा बीबी को ग्राफ़ (18 कैरेट सोने और हीरे की घड़ी) समेत कई उपहार मिले जिनका अनुमानित मूल्य 14 करोड़ रुपये से अधिक था जो उन्होंने 20 प्रतिशत रक़म अदा कर अपने पास रखे.
● 2009 में राष्ट्रपति आसिफ़ अली ज़रदारी ने 13 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की तीन गाड़ियां उपहार में लीं. इनमें बीएमडब्ल्यू 760 (सिक्योरिटी वर्ज़न, 2008 मॉडल), टोयोटा लेक्सस (सिक्योरिटी वर्ज़न) और बीएमडब्ल्यू 760 (सिक्योरिटी वर्ज़न, 2004 मॉडल) कारें शामिल थीं. इनके बदले आसिफ़ ज़रदारी ने सिर्फ 15 प्रतिशत रक़म अदा की.
● साल 2016 में प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ़ और उनकी पत्नी कुलसुम नवाज़ ने लग्ज़री क्रिस्टोफ़र कैरेट घड़ी हासिल की जिनकी असल क़ीमत नौ करोड़ रुपये से अधिक बनती है मगर उन्होंने इसका 20 फ़ीसद ही अदा किया.
तोशाख़ाना से उपहार लेने की प्रक्रिया क्या है?
सन 2001 के क़ानूनों के तहत जिन उपहारों का मूल्य 10 हज़ार रुपये तक लगाया जाता है, ऐसे उपहारों को मुफ़्त लिया जा सकता है. 10 हज़ार से अधिक के उपहारों के लिए सरकारी पदाधिकारी 15 प्रतिशत रक़म अदा कर तोहफ़े अपने पास रख सकते थे लेकिन 2011 में इस रक़म को 20 प्रतिशत कर दिया गया.
अब 2018 के नियमों के तहत जिन उपहारों की क़ीमत का अंदाज़ा 30 हज़ार रुपये तक लगता है वह मुफ़्त हासिल किए जा सकते हैं. तीस हज़ार रुपये से ऊपर के उपहारों के बदले 50 प्रतिशत अदायगी ज़रूरी कर दी गई है और ऐतिहासिक महत्व के उपहारों को सरकारी इमारतों में डिस्प्ले करने के निर्देश हैं.
जबकि शासकों की ओर से तोशाख़ाने में जमा करवाए गए तोहफ़े सरकार के बनाए हुए नियमों के तहत ही बेचे जा सकते हैं और इसके लिए नीलामी की जाती है.
पाइनएप्पल, बेडशीट और आईफ़ोंस
2011 में एबटाबाद इंक्वायरी कमीशन के प्रमुख जस्टिस रिटायर्ड जावेद इकबाल ने कॉफ़ी के दो पैकेट रखे, जबकि वर्तमान राष्ट्रपति आरिफ़ अल्वी, चेयरमैन, सेनेट सादिक़ संजरानी, आसिफ़ ज़रदारी और शौकत अजीज़ नायाब राइफ़ल और बंदूक़ें हासिल कर चुके हैं.
बेडशीट्स लेने वालों में शौकत अज़ीज़, ख़ुर्शीद क़सूरी, ख़्वाजा आसिफ़, आसिफ़ ज़रदारी और इसहाक़ डार समेत दूसरे शामिल हैं. बिलावल भुट्टो ने 2013 में उस समय एक गुलदान तोशाख़ाने से मुफ़्त हासिल किया जब उनके पिता देश के राष्ट्रपति थे.
पूर्व नौसेना प्रमुख ज़काउल्लाह ने चार बार सस्ते दामों में तोशाख़ाने से आईफ़ोन और दो बार आईपैड लिया. पूर्व एयर चीफ़ ताहिर रफ़ीक़ बट को दो आईपैड, नायकोन और कैनन के कैमरे मिले.
जबकि ख़्वाबे के फ़ोन लेने वालों में पूर्व नौसेना प्रमुख ज़काउल्लाह, विदेशी मामलों में प्रधानमंत्री के पूर्व सलाहकार सरताज अज़ीज़, पूर्व राष्ट्रपति ममनून हुसैन, शौकत अज़ीज़ और शाहिद ख़ाक़ान अब्बासी के बेटे हैदर, नादिर और अब्दुल्ला शामिल हैं.
रिकॉर्ड के अनुसार ममनून हुसैन ने ड्राई फ़्रूट के दो डिब्बे मुफ़्त लिए. रज़ा रब्बानी, शाह महमूद क़ुरैशी, नवाज़ शरीफ़ शौकत अज़ीज़, परवेज़ मुशर्रफ़, हिना रब्बानी, आसिफ़ ज़रदारी और आरिफ़ अल्वी उन लोगों में भी शामिल हैं जिन्होंने खजूर और टी सेट हासिल किए.
सन 2015 में तत्कालीन प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ़, उनकी पत्नी कुलसुम नवाज़ और बेटी मरियम नवाज़- तीनों ने अनानास के डिब्बे लिए जिसके लिए कोई रक़म अदा नहीं की. 2015 में दोबारा नवाज़ शरीफ़ और कुलसुम नवाज़ को पाइनएप्पल के डिब्बे मिले.